पत्नी डिंपल कन्नौज से तो पति अखिलेश यादव कहां से लड़ेंगे लोकसभा चुनाव

अखिलेश यादव कन्नौज से लोकसभा का चुनाव जीत चुके हैं. सीएम बनने के बाद उन्होंने ये सीट छोड़ दी थी. बाद में डिंपल यादव ने यहां जीत दर्ज की.


लखनऊ,अरुण कुमार सिंह समाजवादी पार्टी ने कन्नौज से सांसद डिंपल यादव को कन्नौज से ही लोकसभा चुनाव लड़ाने का एलान किया है. ऐसे में अब बड़ा सवाल खड़ा हो गया है कि सपा के अध्यक्ष और पूर्व मुख्यमंत्री अखिलेश यादव किस सीट से लोकसभा चुनाव लड़ेंगे. सपा ने आज अपने 9 उम्मीदवारों का एलान किया है. इसमें सबसे बड़ा नाम मुलायम सिंह यादव का है जो मैनपुरी से चुनाव लड़ेंगे.


अखिलेश इस बार लोकसभा चुनाव लड़ेंगे या नहीं?



मुलायम सिंह यादव के अलावा अखिलेश यादव के चचेरे भाई धर्मेंद्र यादव को बदांयू से टिकट मिला है. अखिलेश का घर इटावा लोकसभा क्षेत्र में पड़ता है, लेकिन ये सुरक्षित सीट है. फ़िरोज़ाबाद से उनके एक और चचेरे भाई अक्षय यादव चुनाव लड़ेंगे. तो फिर सवाल ये है कि आखिर अखिलेश यादव क्या करेंगे? वे इस बार लोकसभा चुनाव लड़ेंगे या नहीं?


   हालांकि अखिलेश यादव के लिए विकल्प के रूप में आज़मगढ़ लोकसभा क्षेत्र हो सकता है. जहां से अभी मुलायम सिंह यादव सांसद हैं. अखिलेश यादव इससे पहले कन्नौज और फ़िरोज़ाबाद से लोकसभा चुनाव लड़ कर जीत चुके हैं. साल 2009 में वे दोनों सीटों से एमपी चुने गए थे. बाद में उन्होंने फ़िरोज़ाबाद की सीट छोड़ दी. कुछ महीनों बाद उप चुनाव हुए, लेकिन समाजवादी पार्टी की डिंपल यादव को कांग्रेस के राज बब्बर ने हरा दिया.


 


सीएम बनने के बाद अखिलेश ने छोड़ दी थी कन्नौज लोकसभा सीट


   मुलायम परिवार के लिए ये बहुत बड़ा झटका था. लेकिन तीन साल बाद यूपी में विधानसभा चुनाव हुए तो राज्य में पार्टी की सरकार बन गई और अखिलेश यादव मुख्यमंत्री बने. यूपी का सीएम बनने के बाद उन्होंने कन्नौज लोकसभा सीट छोड़ दी. उप चुनाव के बाद डिंपल यहां से सांसद चुनी गईं. साल 2014 के चुनाव में मोदी लहर के कारण वह बस 19 हज़ार वोटों से ही जीत पाईं. बीजेपी ने उन्हें कड़ी टक्कर दी.


 


मुलायम परिवार के पांच लोग पिछली बार चुनाव जीते थे. मुलायम सिंह दो सीटों आज़मगढ़ और मैनपुरी से सांसद चुने गए थे. बाद में उन्होंने मैनपुरी की सीट छोड़ी दी. उप चुनाव में मुलायम के भतीजे के बेटे तेज़ प्रताप यहां से चुनाव जीते, लेकिन इस बार उन्हें टिकट मिले, इस बात के आसार लगभग न के बराबर हैं.


 


अखिलेश ने डिंपल को चुनाव न लड़ने का एलान किया था


 


परिवारवाद को लेकर लग रहे आरोपों के बीच अखिलेश यादव ने पिछले साल डिंपल को चुनाव न लड़ने का एलान किया था. ये बात उन दिनों की है जब राहुल गांधी ने राजनीति में ख़ानदान के सवाल पर अखिलेश यादव का ज़िक्र किया था. लेकिन कुछ दिनों बाद पत्रकारों के सवाल के जवाब में अखिलेश ने कहा था कि आप लोग कहेंगे तो डिंपल को चुनाव लड़वा देंगे.